Dehradun (PIB)-नवाचार एवं उद्यमिता को बढ़ावा देने के लिए भारत के सबसे बड़े मंचों में से एक, स्मार्ट इंडिया हैकाथॉन (एसआईएच) 2024, 11 से 15 दिसंबर 2024 तक भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (आईआईटी) रुड़की में अपने ग्रैंड फिनाले में समाप्त होने वाला है। अपने 7वें संस्करण के भाग के रूप में, एसआईएच 2024 युवा सशक्तिकरण एवं नवाचार के माध्यम से भारत को आत्मनिर्भर और विश्व स्तर पर प्रतिस्पर्धी बनाने के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के दृष्टिकोण का उदाहरण प्रस्तुत करता है। वह 11 दिसंबर 2024 को शाम करीब 4:30 बजे वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए स्मार्ट इंडिया हैकाथॉन 2024 के ग्रैंड फिनाले में युवा इनोवेटर्स से बातचीत करेंगे। ग्रैंड फिनाले में 1300 से अधिक छात्र टीमें भाग लेंगी। इस अवसर पर प्रधानमंत्री उपस्थित लोगों को संबोधित भी करेंगे।
86,000 से ज़्यादा पंजीकृत टीमों, 49,000 राष्ट्रीय स्तर पर आगे बढ़ने वाली टीमों और 10,800 फाइनलिस्टों के साथ, एसआईएच 2024 नवाचार के लिए एक नया मानदंड स्थापित करता है, स्मार्ट वाहन, एग्रीटेक, रोबोटिक्स, आपदा प्रबंधन, विरासत एवं अंतरिक्ष प्रौद्योगिकी जैसे क्षेत्रों में 250 से ज़्यादा वास्तविक दुनिया की चुनौतियों का सामना करते हुए, भारत के तकनीकी नेतृत्व और सतत विकास को आगे बढ़ाता है। शिक्षा जगत को उद्योग एवं सरकार से जोड़कर, एसआईएच प्रतिभागियों को ऐसे स्केलेबल समाधान विकसित करने में सक्षम बनाता है जो वास्तविक दुनिया में प्रभाव डाल सकते हैं।
177 वर्षों की विरासत के साथ, आईआईटी रुड़की तकनीकी उत्कृष्टता और सामाजिक परिवर्तन के प्रतीक के रूप में खड़ा है। भारत के प्रमुख संस्थानों में से एक के रूप में, यह स्मार्ट इंडिया हैकाथॉन और राष्ट्रीय शिक्षा नीति (एनईपी 2020) जैसी सरकारी पहलों के साथ सहजता से जुड़ते हुए, नवाचार के मामले में सबसे आगे रहा है। टीएमआई-102 (टिंकरिंग एंड मेंटरिंग) कोर्स और एक सक्रिय इनोवेशन एंड इनक्यूबेशन सेल (आईआईसी) जैसे अग्रणी प्रयासों के माध्यम से, आईआईटी रुड़की उद्यमी प्रतिभा को विकसित करता है और आलोचनात्मक सोच को बढ़ावा देता है। संस्थान के प्लेटफ़ॉर्म से शुरू होने वाली कई परियोजनाएँ प्रभावशाली स्टार्टअप में बदल गई हैं, वैश्विक मान्यता प्राप्त कर रही हैं, जिससे प्रौद्योगिकी को आगे बढ़ाने और एक आत्मनिर्भर, टिकाऊ भारत को आकार देने की इसकी प्रतिबद्धता और मजबूत हुई है।